Prayagraj Tourist Places :- प्रयागराज, जिसे पहले इलाहाबाद के नाम से जाना जाता था, उत्तर प्रदेश का एक प्रमुख शहर है। यह शहर गंगा और यमुना नदियों के संगम पर स्थित है, जिसे हिंदू धर्म में पवित्र माना जाता है। प्रयागराज एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक रूप से समृद्ध शहर है, जिसमें कई दर्शनीय स्थल और पर्यटक आकर्षण हैं।
प्रयागराज मे घूमने की जगह – Visit Places in Prayagraj
आज के इस ब्लॉग पोस्ट मे हम प्रयागराज मे घुमने कि जगह कौन कौन है के बारे मे बताएँगे और क्या खास है वहाँ | प्रयागराज एक खूबसूरत शहर है और यहाँ कई ऐसे धार्मिक, एतेहासिक पर्यटन स्थल है जिसे देखे लोग दूर दूर से आते हैं | तो हम आपको प्रयागराज के प्रमुख दर्शनीय और पर्यटन स्थल के बारे मे निचे बताएँगे | जो निम्नलिखित है :-
Tour Guide
इलाहबाद किला – Allahabad Fort, Prayagraj
इलाहबाद किला या अकबर किला, जो 16वीं शताब्दी में मुगल सम्राट अकबर द्वारा बनाया गया था, प्रयागराज के सबसे प्रसिद्ध ऐतिहासिक स्थलों में से एक है। यह किला गंगा नदी के किनारे स्थित है और इसका निर्माण मुगल वास्तुकला में किया गया है। किले में तीन बड़े गैलरी हैं जहां पर ऊंची मीनारें हैं। सैलानियों को अशोक स्तंभ, सरस्वती कूप और जोधाबाई महल देखने की इजाजत है। अकबर किला प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटक आकर्षणों में से एक है। यह किला अपनी सुंदर वास्तुकला, ऐतिहासिक महत्व और धार्मिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है। अकबर किले के कुछ प्रमुख आकर्षण निम्नलिखित हैं:-
- अकबरी गेट: यह किले का मुख्य द्वार है जो मुगल वास्तुकला का एक उत्कृष्ट नमूना है।
- अशोक स्तंभ: यह एक प्राचीन अशोक स्तंभ है जो तीसरी शताब्दी ईसा पूर्व का है।
- सरस्वती कूप: यह एक प्राचीन सरस्वती कूप है जो 5वीं शताब्दी ईसा पूर्व का है।
- जोधाबाई महल: यह एक छोटा सा महल है जो जोधाबाई, अकबर की पत्नी के लिए बनाया गया था।
अकबर किला सुबह 9:00 बजे से शाम 5:00 बजे तक खुला रहता है। किले के प्रवेश शुल्क ₹25 है।
त्रिवेणी संगम – Triveni Sangam, Prayagraj
त्रिवेणी संगम प्रयागराज का सबसे प्रसिद्ध पर्यटन स्थल है। यह वह स्थान है जहां गंगा, यमुना और सरस्वती नदियों का संगम होता है। यह संगम हिंदू धर्म में एक पवित्र स्थान है, और हर साल लाखों श्रद्धालु यहां स्नान करने और पूजा करने आते हैं। त्रिवेणी संगम एक खूबसूरत जगह है। यहां गंगा और यमुना नदियों के पानी के रंग अलग-अलग हैं, जो एक अद्वितीय दृश्य प्रस्तुत करते हैं। संगम के पास कई घाट हैं, जहां श्रद्धालु स्नान कर सकते हैं। संगम के पास कई मंदिर और अन्य धार्मिक स्थल भी हैं।
खुसरो बाग – Khusro Bagh, Prayagraj
खुसरो बाग मुगल वास्तुकला का एक उत्कृष्ट नमूना है। बाग में कई खूबसूरत फूलों और पेड़ों के पेड़ हैं। बाग के केंद्र में खुसरो का मकबरा है, जो एक सफेद संगमरमर का मकबरा है। मकबरे के ऊपर एक विशाल छतरी है, जो मजबूत स्तंभों पर टिकी हुई है। मकबरे के चारों ओर कई अन्य इमारतें भी हैं, जिनमें शाह बेगम का मकबरा, निथार का मकबरा और एक मस्जिद शामिल हैं। खुसरो बाग प्रयागराज का एक लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण है। यह बाग अपनी सुंदरता, ऐतिहासिक महत्व और धार्मिक महत्व के लिए प्रसिद्ध है।
आनंद भवन – Anand Bhawan, Prayagraj
आनंद भवन, जो अब एक संग्रहालय है, भारत के स्वतंत्रता संग्राम के महान नेताओं, महात्मा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री का पूर्व निवास था। यह 1902 में शास्त्री परिवार द्वारा बनाया गया था और गांधीजी 1915 से 1948 तक यहां रहते थे। आनंद भवन एक विशाल और सुंदर इमारत है। इस इमारत में कई कमरे हैं, जिनमें गांधीजी और शास्त्री परिवार के रहने के कमरे, एक पुस्तकालय, एक बैठक कक्ष और एक भोजन कक्ष शामिल हैं। इमारत में कई ऐतिहासिक वस्तुएं भी हैं, जिनमें गांधीजी के कपड़े, जूते और अन्य व्यक्तिगत सामान शामिल हैं। आनंद भवन प्रयागराज का एक लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण है। यह संग्रहालय गांधीजी और शास्त्री परिवार के जीवन और कार्यों के बारे में जानने के लिए एक उत्कृष्ट स्थान है।
बड़े हनुमान जी मंदिर – Bade Hanuman Ji Temple, Prayagraj
श्री बड़े हनुमान जी मंदिर प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटक आकर्षणों में से एक है। यह मंदिर गंगा और यमुना नदियों के संगम के निकट यमुना तट पर स्थित है। मंदिर में हनुमान जी की एक विशाल मूर्ति है, जो 20 फीट लंबी है। मूर्ति लेटी हुई मुद्रा में है, और इसे “बड़े हनुमान जी” के नाम से जाना जाता है।
मंदिर की स्थापना के बारे में एक लोकप्रिय कहानी है कि एक बार एक व्यापारी हनुमान जी की एक भव्य मूर्ति को अपनी नाव से लेकर जा रहा था। जब वह अपनी नाव लेकर प्रयाग के समीप पहुंचा तो उसकी नाव धीरे-धीरे भारी होने लगी तथा संगम के नजदीक पहुंच कर गंगा जी के जल में डूब गई। कालान्तर में कुछ समय बाद जब गंगा जी के जल की धारा ने कुछ राह बदली। तो वह मूर्ति दिखाई पड़ी। उसी जगह मंदिर की स्थापना की गई।
मंदिर हिंदू धर्म के अनुयायियों के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल है। हर साल लाखों श्रद्धालु यहां दर्शन करने आते हैं। मंदिर के परिसर में एक बड़ा हनुमान जी का मंदिर, एक शिव मंदिर, और एक गणेश मंदिर है। मंदिर के पास एक बड़ा घाट भी है, जहां श्रद्धालु स्नान कर सकते हैं।
ऑल सेंट्स कैथेड्रल – All Saints Cathedral, Prayagraj
ऑल सेंट्स कैथेड्रल, जो एमजी रोड पर स्थित है, इलाहाबाद का सबसे बड़ा गिरजाघर है। यह गिरजाघर 19वीं शताब्दी में बनाया गया था और यह ब्रिटिश वास्तुकला का एक उत्कृष्ट नमूना है। ऑल सेंट्स कैथेड्रल एक विशाल और सुंदर इमारत है। इस इमारत में एक लंबा और ऊंचा टॉवर है, जो शहर के कई हिस्सों से दिखाई देता है। गिरजाघर की दीवारों पर बाइबल की कहानियों और छवियों को चित्रित किया गया है। ऑल सेंट्स कैथेड्रल प्रयागराज का एक लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण है। यह गिरजाघर ईसाई धर्म के अनुयायियों के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थान है।
जवाहर प्लेनेटेरियम – Jawahar Planetarium, Prayagraj
जवाहर प्लेनेटेरियम, जो आनंद भवन के पास स्थित है, एक प्लेनेटेरियम है जो ब्रह्मांड और अंतरिक्ष के बारे में जानने के लिए एक उत्कृष्ट स्थान है। यह प्लेनेटेरियम 1979 में बनाया गया था और यह जवाहरलाल नेहरू मेमोरियल फंड द्वारा प्रबंधित किया जाता है। जवाहर प्लेनेटेरियम में एक विशाल डोम थिएटर है, जिसमें एक शक्तिशाली प्रोजेक्टर है जो सितारों, ग्रहों और अन्य खगोलीय पिंडों की छवियां प्रदर्शित करता है। प्लेनेटेरियम में विभिन्न प्रकार के शो होते हैं, जो बच्चों और वयस्कों दोनों के लिए रुचिकर होते हैं। जवाहर प्लेनेटेरियम प्रयागराज का एक लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण है। यह प्लेनेटेरियम छात्रों, शिक्षकों और अंतरिक्ष के बारे में जानने के इच्छुक सभी लोगों के लिए एक उत्कृष्ट स्थान है।
इलाहाबाद संग्रहालय – Allahabad Museum, Prayagraj
इलाहाबाद संग्रहालय प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटक आकर्षणों में से एक है। यह संग्रहालय 1931 में स्थापित किया गया था, और इसमें प्राचीन और मध्यकालीन भारतीय कला और शिल्प की एक बड़ी प्रदर्शनी है। संग्रहालय में विभिन्न प्रकार के प्राचीन अवशेष और कलाकृतियां हैं, जिनमें शामिल हैं:
- मूर्तियां, शिलालेख, और अन्य कलाकृतियां जो प्राचीन भारत के विभिन्न संस्कृतियों और सभ्यताओं का प्रतिनिधित्व करती हैं।
- मध्यकालीन भारतीय चित्रकला और मूर्तिकला।
- सिक्के, गहने, और अन्य प्राचीन वस्तुएं।
- संग्रहालय में एक विशेष प्रदर्शनी है जो प्रयागराज के इतिहास और संस्कृति को समर्पित है।
इलाहाबाद संग्रहालय एक ऐसा स्थान है जहां आप भारत के समृद्ध इतिहास और संस्कृति के बारे में जान सकते हैं। यह संग्रहालय हर उम्र के लोगों के लिए एकदम सही है।
चंद्रशेखर आजाद पार्क – Chandrashekhar Azad Park, Prayagraj
चंद्रशेखर आजाद पार्क, जिसे पहले अल्फ्रेड पार्क के नाम से जाना जाता था, प्रयागराज का सबसे बड़ा और सबसे लोकप्रिय पार्क है। यह पार्क गंगा नदी के किनारे स्थित है और इसका क्षेत्रफल 133 एकड़ है। पार्क में विभिन्न प्रकार के पेड़-पौधे, फूल और जानवर हैं। पार्क में कई आकर्षण भी हैं, जिनमें शामिल हैं:-
- चंद्रशेखर आजाद की मूर्ति: पार्क के केंद्र में चंद्रशेखर आजाद की एक विशाल मूर्ति है, जो भारत के स्वतंत्रता संग्राम के एक महान क्रांतिकारी थे।
- विक्टोरिया मेमोरियल: पार्क में एक विशाल स्मारक है जो ब्रिटिश रानी विक्टोरिया को समर्पित है।
- प्रयाग संगीत समिति: पार्क में एक संगीत अकादमी है जो भारतीय संगीत और नृत्य की शिक्षा प्रदान करती है।
अलोपी शंकर देवी शक्तिपीठ मंदिर – Alopi Shankar Devi Shaktipeeth Temple
अलोपी शंकर देवी शक्तिपीठ मंदिर, जो अलोपीबाग में स्थित है, हिंदू धर्म के 51 शक्तिपीठों में से एक है। यह मंदिर माता सती के शरीर के एक अंश को समर्पित है, जो भगवान शिव की पत्नी थीं। अलोपी शंकर देवी शक्तिपीठ मंदिर एक सुंदर और भव्य मंदिर है। मंदिर का निर्माण 19वीं शताब्दी में किया गया था। मंदिर की दीवारों पर हिंदू देवी-देवताओं की कई भित्ति चित्र और मूर्तियां हैं। मंदिर के गर्भगृह में अलोपी शंकर देवी की एक मूर्ति है, जो एक लकड़ी की पालकी में बैठी हुई हैं।
भारद्वाज पार्क – Bhardwaj Park, Prayagraj
भारद्वाज पार्क प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटक स्थल में से एक है। यह पार्क गंगा और यमुना नदियों के संगम के पास स्थित है। पार्क में भारद्वाज आश्रम है, जो ऋषि भारद्वाज के लिए समर्पित है। पार्क में कई आकर्षण हैं, जिनमें शामिल हैं:-
- ऋषि भारद्वाज की 15 फीट ऊंची प्रतिमा।
- एक झरना जिसमें शंकर जी की प्रतिमा विराजमान है।
- एक तालाब जिसमें विभिन्न प्रकार के मछलियां हैं।
- एक चिड़ियाघर जिसमें विभिन्न प्रकार के जानवर हैं।
- एक बगीचा जिसमें विभिन्न प्रकार के फूल और पेड़ हैं।
अक्षयवट – Akshayavat, Prayagraj
अक्षयवट, प्रयागराज में स्थित एक पवित्र वट वृक्ष है। अक्षयवट के नीचे एक मंदिर है, जो भगवान शिव को समर्पित है। मंदिर में शिवलिंग और अन्य धार्मिक मूर्तियां हैं। यह वृक्ष गंगा और यमुना नदियों के संगम के निकट त्रिवेणी घाट पर स्थित है। अक्षयवट को हिंदू धर्म में बहुत पवित्र माना जाता है, और यह एक प्रमुख धार्मिक स्थल है। अक्षयवट का उल्लेख कई हिंदू ग्रंथों में मिलता है, जिनमें रामायण, महाभारत, और पुराण शामिल हैं। रामायण के अनुसार, राम, लक्ष्मण, और सीता ने अक्षयवट के नीचे विश्राम किया था। महाभारत के अनुसार, अक्षयवट के नीचे ही कृष्ण और अर्जुन ने गीता के ज्ञान का आदान-प्रदान किया था।
श्री मानकामेशवर मंदिर – Sri Mankameshwar Temple, Prayagraj
श्री मानकामेशवर मंदिर प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटन स्थल में से एक है। यह मंदिर गंगा और यमुना नदियों के संगम के पास स्थित है। मंदिर में शिवलिंग है, जो भगवान शिव के अवतार माने जाते हैं। मंदिर की स्थापना 18वीं शताब्दी में हुई थी। मंदिर का निर्माण राजा मानसिंह ने करवाया था। मंदिर एक विशाल इमारत है, जो लाल बलुआ पत्थर से बनी है। मंदिर के अंदर एक बड़ा शिवलिंग है, जो 12 फीट ऊंचा है। शिवलिंग के चारों ओर कई छोटे-छोटे शिवलिंग हैं। मंदिर हिंदू धर्म के अनुयायियों के लिए एक महत्वपूर्ण धार्मिक स्थल है। हर साल लाखों श्रद्धालु यहां पूजा करने आते हैं। मंदिर के पास एक बड़ा घाट भी है, जहां श्रद्धालु स्नान कर सकते हैं।
इस्कॉन मंदिर – iskcon temple, Prayagraj
इस्कॉन मंदिर प्रयागराज के सबसे लोकप्रिय पर्यटन स्थल में से एक है। यह मंदिर यमुना नदी के किनारे बलुआ घाट के पास स्थित है। मंदिर में भगवान कृष्ण और देवी राधा की एक सुंदर मूर्ति है। मंदिर की स्थापना 1987 में हुई थी। मंदिर का निर्माण इस्कॉन, इंटरनेशनल सोसाइटी फॉर कृष्णा कॉन्शसनेस ने करवाया था। मंदिर एक विशाल इमारत है, जो लाल पत्थर से बनी है। मंदिर के अंदर एक बड़ा मंदिर हॉल है, जहां भगवान कृष्ण और देवी राधा की मूर्ति है। मंदिर के पास एक बगीचा भी है, जहां विभिन्न प्रकार के फूल और पेड़ हैं।
FAQ (प्रयागराज घूमने के बारे में अक्सर पूछे जाने वाले सवाल) :-
प्रयागराज कहाँ है?
प्रयागराज भारत के उत्तर प्रदेश राज्य में स्थित एक शहर है। यह गंगा और यमुना नदियों के संगम पर स्थित है। प्रयागराज को “इतिहास का शहर” और “तीर्थराज” भी कहा जाता है।
प्रयागराज में घूमने के लिए सबसे अच्छी जगहें कौन सी हैं?
प्रयागराज में घूमने के लिए कई अच्छी जगहें हैं। इनमें शामिल हैं: संगम, इंदिरा गांधी राष्ट्रीय कला केंद्र, अक्षयवट, विश्वनाथ मंदिर, खानदानी मस्जिद, इलाहबाद किला, त्रिवेणी संगम, बड़े हनुमान जी मंदिर, जवाहर प्लेनेटेरियम, ऑल सेंट्स कैथेड्रल इत्यादि प्रमुख है|
प्रयागराज में घूमने का सबसे अच्छा समय क्या है?
प्रयागराज में घूमने का सबसे अच्छा समय अक्टूबर से मार्च के बीच है। इस दौरान मौसम सुहावना होता है और तीर्थयात्रियों की भीड़ कम होती है।
प्रयागराज में घूमने के लिए कितना समय चाहिए?
प्रयागराज में घूमने के लिए कम से कम तीन दिन चाहिए। इस दौरान आप शहर के प्रमुख दर्शनीय स्थलों को देख सकते हैं।
प्रयागराज में कहाँ ठहरें?
प्रयागराज में कई अच्छी होटलें और धर्मशालाएं हैं। आप अपनी बजट और सुविधा के अनुसार ठहरने का स्थान चुन सकते हैं।
प्रयागराज कैसे पहुंचे?
प्रयागराज सड़क, रेल और हवाई मार्ग से अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है।
प्रयागराज से खरीदारी के लिए सबसे अच्छी चीजें क्या हैं?
प्रयागराज में कई अच्छी दुकानें हैं जहां आप कपड़े, हस्तशिल्प, और अन्य पारंपरिक भारतीय सामान खरीद सकते हैं।
प्रयागराज में घूमने का खर्चा?
प्रयागराज में घूमने का खर्चा आपकी यात्रा के बजट और सुविधाओं पर निर्भर करता है। अनुमानित खर्च 7000 रूपये से 10000 रूपये तक हो सकता है |
निष्कर्ष (Discloser):
हमने अपने आज के इस महत्वपूर्ण लेख में आप सभी लोगों को प्रयागराज में घूमने की जगह (Prayagraj Me Ghumne ki Jagah) (tourist places in prayagraj) से सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी दी है और यह जानकारी अगर आपको पसंद आई है तो आप इसे अपने दोस्तों के साथ और अपने सभी सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर करना ना भूले। आपके इस बहुमूल्य समय के लिए धन्यवाद |
अगर आपके मन में हमारे आज के इस लेख के सम्बन्ध में कोई भी सवाल या फिर कोई भी सुझाव है तो आप हमें कमेंट बॉक्स में बताएं। हम आपके द्वारा दिए गए comment का जवाब जल्द से जल्द देने का प्रयास करेंगे और हमारे इस महत्वपूर्ण लेख को अंतिम तक पढ़ने के लिए आपका बहुत-बहुत धन्यवाद |
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- नोट: यह ब्लॉग पोस्ट प्रयागराज के प्रति मेरी आत्मीय भावनाओं का प्रतिबिंब है और इसका उद्देश्य केवल जानकारी साझा करना है।